एक कहानी है एक स्कूल वाली चुड़ैल (School Wali Chudail) की। गंगा नदी के किनारे रसूलपुर नाम का एक बहुत ही प्यारा गांव था। उस गांव के बगल में एक स्कूल था।
उस गांव के बच्चे रोज स्कूल में जाते, अच्छे से मन लगाकर पढ़ाई करते, खेलते कूदते और खुशी खुशी अपने घर आते। एक दिन उस स्कूल में एक नई टीचर आयी। उसका नाम नीतू था।
देखने में बहुत सुन्दर थी लेकिन थोड़ी गुस्से वाली भी थी। बच्चों को जब पढ़ाने लगती थी तो बच्चे एक दम से डर जाते थे।
वह अगर किसी बच्चे से कुछ प्रश्न पूछती तो बच्चे उसके डर से याद किया हुआ उत्तर भी भूल जाते थे। उस टीचर के डर से तो बहुत सारे बच्चो ने स्कूल जाना भी बंद कर दिया था।
स्कूल वाली चुड़ैल (School Wali Chudail)
एक दिन बच्चे स्कूल आये तो उन्हें पता चला की नीतू टीचर आज छुटी पर हैं। बच्चे बहुत ख़ुश हो गए। और अपने क्लास में बैठ कर शोर मचाने लगे। तभी अचानक से नीतू टीचर आ गयी और बोली – क्या हुआ तुमलोग को, इतना शोर क्यू मचा रखा है।
टीचर गुस्से में बोलती हैं की आज तुमलोग को मै इसकी सजा देके रहूंगी। तुम सब मुर्गा बन जानो। सभी बच्चे डरे हुए स्वर में टीचर से बोलते हैं हमें माफ कर दीजिये मैम अब से सोर नहीं मचाएंगे।
टीचर बोलती हैं ठीक हैं मैं तुमलोग को एक शर्त पर माफ़ करुँगी, जब तुम लोग इंग्लिश का टेस्ट दोगे। टीचर के बात सुनकर सभी बच्चे चुप चाप हो जाते हैं तभी पीछे से पिंकी नाम की एक लड़की बोलती हैं – मैम मैं टेस्ट देने के लिए तैयार हूँ। टीचर बोलती हैं मैं एक ही बच्चे को पढ़ाती थी क्या ? टेस्ट सबको देना पड़ेगा।
फिर कुछ देर बाद नीतू मैम टेस्ट लेने लगती हैं। क्लास में कुछ पीछे बैठे बच्चे खूसूर फुसुर कर रहे होते है। आवाज सुनकर टीचर पीछे जाती हैं और एक बच्चे को चीटिंग करते हुए पकड़ लेती हैं। और कहती हैं – ये क्या सुमित तुम चीटिंग कर रहे हो, तुहारी इतनी हिम्मत, आज मैं तुम्हे नहीं छोडूंगी।
आज तो तुम्हे सजा मिल कर ही रहेगी। इतना कहकर टीचर एक डरावनी चुड़ैल बन जाती हैं। सभी बच्चे उस चुड़ैल को देखकर डर जाते हैं। और जोर जोर से चिल्लाने लगते हैं, बचाओ बचाओ कोई हमें बचाओ फिर वो सुमित को हवा में लटका देती हैं।
सुमित रोते रोते बोला- मैम अब से चीटिंग नहीं करूँगा प्लीज हमें माफ कर दीजिये। School Wali Chudail बोलती हैं – नहीं करुँगी माफ, क्या तुमलोग को पता नहीं हैं मैं चीटिंग करने वालो को माफ नहीं करती हूँ।
ऐसे बच्चों से मुझे सख्त नफरत हैं। सुमित के लाख माफ़ी मांगने पर भी वो चुड़ैल उसे माफ नही करती हैं। और कहती हैं की आज जो टेस्ट में पास नहीं होगा उसे मैं मार दूंगी। अब बच्चे तो डर के मारे थर थर कापने लगते हैं। कुछ देर बाद सारे बच्चे का टेस्ट पेपर लेकर चेक करती हैं।
और जो बच्चे फेल होते हैं उन्हें वो कहती हैं, कहा था ना मैंने की पढ़ लो पढ़ लो, लेकिन नहीं तुम्हे चीटिंग करनी हैं, सोर मचाना हैं। इसलिए अब मरने के लिए तैयार हो जाओ।
चुड़ैल के सामने फेल हुए बच्चे खड़े होते हैं और उन फेल हुए बच्चो को सबके सामने बड़ी बेरहमी से पटक पटक कर मार देती हैं।
और दुसरो बच्चो से कहती हैं अब से किसी ने चीटिंग करने की कोशिश की तो ऐसा ही मौत दूंगी अब तुमलोग अपने घर जा सकते हो। और हाँ अगर तुम में से किसी ने मेरे बारे में अपने माँ -बाप से बताया या फिर तुम में से किसी ने कल छुटी की तो समझ लेना इन बच्चों से भी बुरी मौत दूंगी।
सभी बच्चों में उस School Wali Chudail का डर बैठ जाता हैं और सभी बच्चे अपने घर डरे हुए जाते हैं। तभी पिंकी की माँ उससे कहती हैं – पिंकी तू इतनी डरी हुयी क्यू हैं ? और तूझे तो बहुत तेज बुखार भी हैं। पिंकी डरे हुए आवाज में बोलती हैं – कुछ नहीं माँ मुझे कुछ नहीं हुआ हैं मुझे बहुत पढ़ाई करनी हैं, मैं पढ़ने जा रही हूँ।
इतना बोलकर वो अपने कमरे में जाकर पढ़ने लगती हैं। दिन पर दिन उस चुड़ैल का खौफ बच्चों में बढ़ता ही जाता था। और जो बच्चा नहीं पढता उसे वो मार दिया करती थी।
कुछ बच्चे उस बात को दूसरे टीचर से बताने की कोशिश करते है, लेकिन फिर ये सोच कर डर जाते हैं की उस चुड़ैल को पता चल जायेगा तो वो हमें भी मार डालेगी इसलिए चुप चाप डरे हुए अपने क्लास में चले जाते हैं।
एक दिन क्लास में सभी बच्चे पढ़ रहे थे की एक चीकू नाम का लड़का क्लास के अंदर आता हैं और पीछे वाले बेंच पर बैठ जाता हैं तभी पिंकी उसके पास जाकर बोलती हैं, अरे चीकू तू क्यो आया यहाँ पर। जा और भाग जा यहाँ से। चीकू बोलता हैं क्यू भाग जाऊ ? और तू इतनी डरी हुई क्यू हैं।
पिंकी बोलती हैं वो देख तेरे पीछे चुड़ैल। चीकू जैसे ही पीछे देखता हैं वैसे ही उसकी सास अटक जाती हैं और वो भाग कर स्कूल के दूसरे कमरे में जाकर छुप जाता हैं और तभी स्कूल वाली चुड़ैल (School Wali Chudail) वहाँ पहुंच जाती हैं। और चीकू को देख कर हसने लगती हैं।
आखिर तू आ ही गया मुझे तेरा ही इंतजार था। अब तू ज्यादा देर तक जिन्दा नहीं रह सकता। चीकू डरते हुए बोलता हैं मैडम आप जिन्दा हैं आपको तो हमने मार डाला था। चुड़ैल बोलती हैं – हाँ तुने और तेरे बाप ने मिलकर मार डाला था। तेरे बाप को तो मैं पहले ही मार दी थी अब तू मरने के लिए तैयार हो जा।
चीकू चुड़ैल से विनती करता हैं, मैडम मुझे छोड़ दीजिये अब से मैं मन लगा कर पढ़ाई करूँगा। चुड़ैल बोलती हैं – क्यो तूने और तेरे बाप ने छोड़ा था मुझे उस दिन जब मैं दोनों के आगे गिड़गिड़ा रही थी, नहीं ना। तो अब तुझे मरना ही पड़ेगा इतना बोलकर चुड़ैल उसे वही पर पटक पटक कर मार देती है।
तभी खिड़की से प्रधानाध्यापक देख लेता हैं और जिसके बाद वह लड़खड़ा कर गिर जाता हैं। उसके गिरने की आवाज चुड़ैल के कानो में आ जाती हैं और चुड़ैल उसके पास जाकर उसे हवा में उडाने लगती हैं।
कुछ देर बाद छोड़ देती हैं और कहती हैं – मुझे माफ कर दीजिये सर। फिर टीचर बोलता हैं – नीतू ये तुम क्या कर रही हो, और ये क्या हाल बना रखा हैं तुमने। और अगर तुम मर गयी थी तो बच्चों को पढ़ा कौन रहा था।
सर मैं आपको सारी बाते शुरू से बताती हूँ। एक महीना पहले की बात हैं एक दिन मैं क्लास में बच्चों को पढ़ा रही थी तभी पीछे बैठे बच्चे शोर मचा रहे रहे थे इनमे से एक चीकू भी था।
जिसे मैं क्लास में सबके सामने कहा चीकू क्या हैं ये तुम इतना शोर क्यू मचा रहे हो थोड़ा पढ़ाई कर लो आगे भविष्य में तुम एक अच्छे आदमी बन जाओगे। चीकू बोलता हैं – मैम पढ़ लिख कर करना क्या हैं पैसे ही कमाना हैं न, पर आप उसकी चिंता मत करो।
मेरे पापा के पास इतना पैसा हैं की बड़े बड़े स्कूल को खरीद सकते हैं और आपको भी। इतना सुनकर मुझे गुस्सा आ गया और मैं चीकू को एक थपड़ लगा दी। चीकू गुस्सा में बोलता हैं – आपकी इतनी हिम्मत आपने मुझे मारा चीकू को।
आप मुझे सिखाएंगी, आप जानती नहीं हैं मेरे पापा कितने अमीर हैं। अभी मै अपने पापा को बताता हूँ, फिर देखना आपका क्या हाल होता हैं। नीतू मैडम बोलती हैं – क्या हाल करेगा बता मुझे क्या करेगा।
इसी बात पर एक और थपड़ लगा देती हैं। जिसके बाद क्लास में चीकू की बहुत बेज्जती होती हैं। और सब बच्चे उस पर हसने लगते हैं। सारे बच्चो का हसना देख कर चीकू को बहुत बुरा लगता है, और वह अपने घर जाकर अपने पिता से रोते रोते कहता हैं – पापा पापा उसने मुझे बहुत मारा।
देखिये उसने मुझे मार मार कर क्या हाल कर दिया हैं। उसके पापा ने चीकू को ऐसी हालत देख कर गुस्से से पूछा – किसकी इतनी हिम्मत हो गयी जिसने मेरे बेटे को हाथ लगाया।
चीकू बोलता हैं – पापा वो मेरी क्लास की गन्दी सी टीचर नीतू मैम ने मुझे मारा। बस इतनी सी बात पर की मुझे पढ़ने का मन नहीं करता। चीकू के पापा कहता हैं – इतनी सी बात के लिए उसने मेरे बेटे को इतनी बेरहमी से मारा।
अब मैं उसे जिन्दा नहीं छोडूंगा। इतना कहकर चीकू और उसके पापा स्कूल में पहुंच जाता हैं और नीतू मैडम से कहता हैं। तो तू हैं नीतू जिसने मेरे बेटे को मारा।
नीतू मैडम बोलती हैं – हाँ मैं ही हूँ, आपके बेटे ने मेरे से इतनी बतमीजी की थी की मुझे उस पर हाथ उठाना ही पड़ा। क्या ये सब आप सिखाते हैं उसे गुंडागर्दी। मैडम के बाते सुनकर चीकू के पापा को गुस्सा आ जाता हैं और उससे कहता हैं।
तूने मुझसे और मेरे बेटे से उलझ कर बहुत बड़ी गलती की हैं जिसका हिसाब अब तुझे चुकाना ही पड़ेगा। नीतू थोड़ा डर जाती हैं और कहती हैं की क्या मतलब।
तब तक चीकू के पिता नीतू मैडम के सर पर एक डंडा से मार देता हैं और नीतू मैडम निचे जमीन पर गिर जाती हैं और उसके पेट में चाकू घोप कर मार देता हैं।
नीतू मैडम उस सर से कहती हैं – सर इसमें मेरी कोई गलती नहीं थी। ये सब मेरे साथ हुआ जिसके बाद मैं बदले की भावना में चुड़ैल बन गयी। लेकिन सर मैं यही चाहती हूँ की बच्चे खूब पढ़े लिखें।
तब स्कूल के टीचर बोलता हैं – सच में नीतू, तुम्हारे साथ बहुत बुरा हुआ। तुम एक बहुत अच्छी टीचर थी, जिसने मरने के बाद भी बच्चों को पढ़ाया।
लेकिन तुमने कई बच्चों की जान भी ले ली इसके लिए मैं तुम्हे माफ नहीं सकता । चुड़ैल फिर टीचर से कहती है – मुझे माफ कर दीजिये सर लेकिन जो बच्चे पढ़ेंगे नहीं उन्हें मरना तो होगा ही। टीचर कहता हैं – देखो नीतू अच्छा यही होगा की अब तुम यहाँ से चली जाओ।
अब तुम इस स्कूल में नहीं रह सकती। तुम्हारे रहने से बहुत से बच्चे की जान चली जाएगी और मुझे ये स्कूल बंद करना पड़ेगा और ये मैं नहीं चाहता। ये बात सुनते ही नीतू हमेशा हमेशा के लिए चली जाती हैं।
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